मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं
दिल में जमी बभ॔ पिघलाना चाहता हूं
दिल वालों से दिल लगाना चाहता हूं मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं
माना कि पुराने दिखते हैं महफिले-ए- जश्न में
पुरानी शराब से भंग में रंग जमाना चाहता हूं
पतझड़ में गिर गए सारे पत्ते तो क्या नए पत्तों से पूरी दुनिया रंगीन बनाना चाहता हूं
मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं
सपनों की दुनिया से बाहर आना चाहता हूं
खुली आंखों से सपने साकार करना चाहता हूं
मेरी उम्र को देखकर पटझड़  का अंदाजा मत लगाना
मैं बिन मौसम बरसात लाना चाहता हूं
मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं
फरेब करने की आदत नहीं है अपनी नई सोच के साथ नये शौक अपनाना चाहता हूं
दिल में जमी हर बफॆ पिघलाना चाहता हूं
मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं
रोना व फरियाद करने की अपनी आदत नहीं
माना खूबसूरती का नियामत हो तुम इस धरा पर
पर  तुझे सादगी  का एहसास कराना चाहता हूं
मैं नए दोस्त बनाना चाहता हूं